उतरौला बलरामपुर- 25 जून 1975 को लागू हुए राष्ट्रीय आपात काल के समय भारतीय लोकतंत्र रक्षा करने वाले उत्तर प्रदेश के लोकतंत्र सेनानियों के सम्मान में वृध्दि किए जाने की मांग को लेकर लोकतंत्र सेनानी चौधरी इरशाद अहमद गद्दी ने मुख्यमंत्री को सम्बोधित एक ज्ञापन उपजिलाधिकारी उतरौला राजेन्द्र बहादुर को सौंपा। दिए गए प्रार्थ ना पत्र में कहा है कि 25 जून 1975 को तत्कालीन केन्द्र सरकार के द्वारा अपनी सत्ता को बचाए जाने हेतु भारती य संविधान केप्राविधानों का दुरूपयोग करते हुए राष्ट्रीय आपात काल को लागू किया गया था।तदु परांत भारतीय लोकतंत्र एवं संविधान की हत्या करते हुए व्यापकपैमाने पर विरोधी नेताओं और आम लोगों कोगिरफ्तार किया गया था। तथा व्यापक रूप से जेलों में बन्द कर कठोरयातनाएं दी गई थीं। इस प्रकार से देश के लोकतंत्र एवं संविधान का पूर्ण रूप से हत्या करने का कार्य किया गया था। भारत सरकार के द्वारा विगत जुलाई 2024 को प्रति वर्ष 24 जून को काला दिवस को संविधान हत्या दिवस के रूप मे मनाए जाने का निर्णय लिया गया है। इरशाद अहमद गद्दी ने मांग की है कि आगामी 25 जून 2025 को प्रस्तावित प्रथम संविधान हत्या दिवस को व्यापक पैमा ने पर आयोजित किया जाए, एवं आम जनमानस को आपात काल के क्रूरता से अवगत कराया जाए। और प्रदेश के जनपद स्तर पर समस्त जनपद मुख्यालय के कलेक्ट्रेट सभागार एवं विकास भवन के सभागार में प्रदेश स्तर पर विधान भवन में 25 जून को कार्यक्रम आयोजित कर भारतीय संविधान एवं भारतीय लोकतंत्र के रक्षक लोकतंत्र सेनानि यों को सम्मानित किया जाए। वर्तमान समय में लोकतंत्र सेनानीियों को राज्य सरकार के द्वारा  20,000 की सम्मान धनराशि दी जाती है। जबकि अन्य राज्यों में 30 से चालीस हजार रुपये दी जाती है। इस सम्मान राशि में वृद्धि हेतु विधान परिषद में भी विगत वर्ष मांग की गई थी। किन्तु दुर्भाग्य वश किन्हीं कारण वश अन्तिम रूप से पारित नहीं हो सका। लोकतंत्र सेनानी ने सम्मान धन राशि में वृद्धि करते हुए न्यूनतम 25000 रूपये किए जाने की मांग की गई है।

          हिन्दी संवाद न्यूज से
         असगर अली की खबर
           उतरौला बलरामपुर। 

Post a Comment

If you have any doubts, please let me know

और नया पुराने