उतरौला बलरामपुर- बलरामपुर-सिद्धार्थ नगर की सीमा पर करोड़ों रुपये की लागत से बन रहा बहुचर्चित चोर घटा पुल एक बार फिर से विवादों में आ गया है। निर्माण कार्य अभी पूरा भी नहीं हुआ था, कि पुल का एप्रोच मार्ग मिट्टी के दबाव से टूट गया। एप्रोच की रिटे निंग वॉल में गम्भीरदरारें भी देखी गईं, जिससे स्थानीय लोगों में काफी आक्रोश फैल गया है।
यह पुल दोनों जिलों के दर्जनों गांवों को जोड़ने वाला प्रमुख सम्पर्क मार्ग माना जा रहा था, लेकिन निर्माण में लापर वाही और घटियासामग्री के उपयोग की आशंका ने पुल की मजबूती पर सवाल खड़े कर दिए हैं। स्थानीय निवासी अनवर अली ने गहरी नाराजगी जताते हुए कहा कि जब पुल बनने से पहले ही टूट गया, तो बड़ी गाड़ियाँ इस पुल पर कैसे चलेंगी यह स्पष्ट है कि इसमें भारी भ्रष्टाचार हुआ है, सरकार को इस की जांच कर ठोस कार्य वाही करनी चाहिए।
निर्माण स्थल पर कार्य रत मिस्त्री राजन ने अपनी ओर से सफाई देते हुए कहा कि मिट्टी का दबाव ज्यादा था, इसलिए एप्रोच टूट गया है। पुल की संरचना मज बूत है और इसमें 8 एम एम का सरिया लगाया गया है। काम ठीक से चल रहा है। गौर तलब हो कि चोर घटा पुल का निर्माण कार्य वर्ष 2014 में शुरू हुआ था, लेकिन कई बार अवरोध आने के कारण यह अधर में लटक गया है। गोण्डा सांसद कीर्तिवर्धन सिंह के प्रयासों से यह कार्य दोबारा शुरू हुआ है, लेकिन अब एप्रोच मार्ग के टूटने की घटना से निर्माण की गुणवत्ता पर गम्भीर प्रश्न चिन्ह लगा दिया है। ग्रामीण मधु रिमा देवी ने चिन्ता व्यक्त करते हुए कहा कि बरसात के दिनों में नदी पार करना पहले से ही मुश्किल होता है। हमें लगा था कि पुल बनने से राहत मिलेगी, लेकिन अब डर है कि कहीं यह जान लेवा न साबित हो जाए। स्थानीय ग्रामीणों वारिस अली, राम सजीवन, चिनगुद, बरसाती और चैतराम ने आरोप लगाते हुए कहा कि ठेकेदारों ने घटिया साम ग्री का इस्तेमाल किया और निर्माण कार्य में अनियमितताएं हुई हैं।
इस संबंध में उपजिला धिकारी उतरौला राजेन्द्र बहादुर ने कहा कि निर्माण कार्य की जांच कराई जाएगी, और दोषियों के खिलाफ कार्यवाही सुनिश्चित की जाएगी।
हिन्दी संवाद न्यूज से
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उतरौला बलरामपुर।
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