शिक्षकों को  साउथ एशिया एक्सीलेंस अवार्ड ,सामाजिक कार्यकर्ताओं को डॉ. बी. आर. अम्बेडकर सोशल चेंज अवार्ड वर्ष 2022 से गोपाल किरन समाजसेवी संस्था ने लखनऊ मैं  समानित किया गया। 
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गोपाल किरन समाजसेवी संस्था द्वारा लखनऊ में स्थित   सहभागी शिक्षण  केंद्र  में देश भर के 165 शिक्षकों को साउथ एशिया एक्सीलेंस अवार्ड 2022 एवं "भारत की वर्तमान शिक्षा व्यवस्था के मानक" विषय पर  "सेमीनार का आयोजन श्रीप्रकाश सिंह निमराजे के नेतृत्व मैं शैलेश प्रजापति के मार्गदर्शन में तथा पल्लवी शर्मा  सुमन रानी क़े संयोजन में   श्रीमति  संगीता शाक्य, कैलाश चंद्र मीणा, आर. के.मेहरा के संरक्षकत्व मैं में  संपन्न हुआ । इस अवसर पर मुख्य अतिथि -व्ही. के. चौरसिया, (विषय विशेषज्ञ,लोक शिक्षण संचालनालय भोपाल), मुख्य वक्ता अंतराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक डॉ. बी. पी. अशोक ,विशेष अतिथि प्रोफेसर एम. वाई. खान, विभागाध्यक्ष व डीन बाबा साहब भीमराव अम्बेडकर केंद्रीय विश्वविद्यालय लखनऊ, कैप्टन दिनेश चंद्रा, अनिल सिंह, श्री अनिल सिंह, पुलिस उप महानिरीक्षक रेडियो , डॉ. सारिका महेश  शाह, (यवतमाल महाराष्ट्र, मिसेस यूनाइटेड नेशन 2019,सेलेब्रिटीज़ ),पुष्पा अनिल ( डिप्टी कंट्रोलर )नागरिक सुरक्षा विभाग),छत्तीसगढ़ से कुसुम लाड़ ,श्री मोहन सिंह भोपाल आदि अतिथिगण  उपस्थित रहे !। यह कार्यक्रम उत्तम  नवाचारी व  जरूरमंद लोगों के बीच कार्य करने वाले  उत्कृष्ट शिक्षकों व सामाजिक जनों के लिए  आयोजित हुआ। कार्यक्रम का रजिस्ट्रेशन उत्तराखंड से अवर्तिका फर्स्वाण व गुजरात से अनिल शर्मा द्वारा किया गया 
अतिथियों ने दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम का उद्घाटन किया। तत् पश्चात कार्यक्रम आयोजक श्रीप्रकाश सिंह निमराजे, अध्यक्ष, गोपाल किरण  समाजसेवी संस्था, ने कार्यक्रम के उद्देश्य व संस्था के समन्वयक श्री शैलेष प्रजापति, ने संस्था के कार्यों की पर प्रकाश डाला।
संस्था के अध्यक्ष श्रीप्रकाश सिंह निमराजे का  सम्मान उत्तर प्रदेश की ओर से  पल्लवी शर्मा जी व सुमन रानी के मार्गदर्शन में गोरखपुर से ममताप्रीती श्रीवास्तव जी ने बेहतरीन  स्केच फोटो बनाकर भेंट किया।  जौनपुर से  श्री विजय मेहंदी जी ने अध्यक्ष जी  क़े जीवन पर कविता भीम पच्चीसा भेंट करने के साथ ही   सावेन्द्र कुमार  यादव जौनपुर उ. प्र ने  शाल उढ़ाकर सम्मान किया । शहाना सैफी ने माँ सरस्वती की मूर्ति भेंट की।  निरंजना शर्मा,वीरेंद्र प्रताप सिंह, खेमपाल सिंह, कुमारी पुष्पा सोनकर, बेसिक शिक्षा विभाग पीलीभीत  साथियों  ने उत्तर प्रदेश सरकार का लोगो प्रदान किया । राजबहादुर यादव(जौनपुर) ने माॅं सरस्वती का चित्र (स्वरचित वंदना के साथ) भेंट किया ।   वीरेंद्र सिंह पीलीभीत  ने बांसुरी भेंट कर यह संदेश दिया कि यह सेमिनार और सम्मान समारोह  निर्वाध  गति से चलते  रहने चाहिए । सुमन रानी ने  गौतम बुद्ध की मूर्ति और अमिता सचान लखनऊ ने पौधा भेंट कर,  स्वागत किया ।
यह कार्यक्रम भारतीय संविधान के निर्माता भारत रत्न बाबा साहब भीमराव अंबेडकर के भारतीय समाज के स्वरूप को एक सूत्र में बांधने के लिए संकल्पित प्रयास को समर्पित रहा ।
हमारा भारतीय संविधान जिस से समूचा राष्ट्र संचालित होता है उसके उद्देश्यों को जन-जन तक प्रचारित करने के लिए सभी ने संकल्प लिया ।
इस अवसर पर भारतीय संविधान की प्रस्तावना का वाचन किया गया।व शपथ ली गई,
श्रीप्रकाश सिंह निमराजे ने शिक्षकों के साथ होने वाली घटनाओं की निंदा की । यवतमाल, महाराष्ट्र से पधारी डॉ. सारिका शाह ने कहा कि ऐसे ही राष्ट्रीय स्तर के कार्यक्रमों के आयोजन करने से शिक्षकों का मनोबल बढ़ता है।
उन्होंने कहा कि कुछ शिक्षकों की वजह से शिक्षक समुदाय बदनाम हो रहा है । राजस्थान मैं एक बच्चे के साथ किये गए बर्ताव से प्रश्न चिन्ह लगा है। उससे बचने और राष्ट्र को प्रगति व बच्चों को भविष्य पर जोर देकर समता मूलक भावना के साथ कार्य व शिक्षा पर जोर दिया जाए  ।
उन्होंने ने शिक्षा के महत्व को बताते हुए कहा कि  शिक्षा शेरनी का दूध है जो पियेगा दहाडेगा , कहने का आशय है उसको शिक्षा मिलेगी तो  शिक्षकों के नाम के साथ वह अपनी बात रखेगा। सेमीनार में समान शिक्षा पर जोर दिया गया, जिससे शासकीय विद्यालय मैं और सुधार आ सके । स्वागत गीत की प्रस्तुति शाहीन सैफी ने दी।
जन जागृति आधारित लोकनृत्य की प्रस्तुति उत्तराखण्ड की ओर से सुमन रानी, सुनीता भटनागर ने प्रस्तुति दी ,जिससे कार्यक्रम में चार चांद लगा दिया,शिक्षिका व कवियित्रि अलका गुप्ता "अलकाकृति" बदायूँ ने  देशभक्ति आधारित घनाक्षरी सुनाकर खूब तालियां बटोरी । रचना सिंह वानिया,मेरठ, ने अपनी स्वरचित सरस्वती वंदना,माला सिंह,मेरठ ने हम मानव है ..कविता को  प्रस्तुत किया। सभी की रचनाओं को  सभी ने पसंद किया ।
 सभी शिक्षक साथियों व अतिथियों द्वारा वाह वाह की  गयी!  स्वागत गीत शहाना सैफी उत्तरप्रदेश ने प्रस्तुत किया.l विभिन्न सत्रों का संचालन ज्योति सागर  सना, सुनीता भटनागर एवं नसीमबानुं खोखर (गुजरात) ने किया। !मंच संचालन की भूमिका निभाकर एक अनूठा व सराहनीय उदाहरण पेश किया।  पल्लवी शर्मा ने सभी क़ा आभार व्यक्त किया। अंत में आयोजक महोदय द्वारा शिक्षक दिवस पर केक सेलिब्रेट कर, सभी को हार्दिक शुभकामनाएं बधाइयां दी। सभी शिक्षकों ने केक काटकर शिक्षक दिवस व इस क़े दिन जन्म लेने वाले शिक्षकों का जन्म दिवस भी मनाया गया। कार्यक्रम में 5 प्रतिभाशाली  बच्चे गरिमा सिंह (चंडीगढ़) ,मानसी त्यागी ,सौम्या  अग्रवाल अलीगढ़ यशिका वंशिका झाँसी   को भी पुरस्कृत किया गया ! डॉ.बी.आर. अम्बेडकर सोशल चेंज मोहन सिंह,(निरीक्षक, भोपाल  )नरेन्द्र सिंह शाक्य (एस. पी. रेडियो मुख्यालय भोपाल),डॉ. बेला तुर्के लखमीपुर, अरुण पाल आदि को दिया गया।भारत देश के विभिन्न शैक्षिक संस्थाओँ से आए  बहुमुखी प्रतिभा के 175 व्यक्तियोँ को  सर्टिफिकेट,,शील्ड तथा प्रमाण पत्र प्रदान किए गए। कार्यक्रम में कई राष्ट्रपति, राज्यपाल प्राप्त  पुरस्कृत शिक्षकों ने पधारकर कार्यक्रम की शोभा बढ़ाई। इस कार्यक्रम मैं गोवा से श्री महादेव शिंदे,(गुजराती समाज विशेष मुलांची शाळा आके, मडगाव, दक्षिण ,उड़ीसा से मोहम्मद ओसामा, राजस्थान राज्य के राष्ट्रीय स्तर प्राप्त करने वाले शबनम भारतीय, उमा हाड़ा (बून्दी), उम्मे हबीबा ( अध्यापिका मथुदा, बून्दी), उम्मुलवरा संवर सिन्ता तालेड़ा बून्दी,कृष्णा खिंची ( वरिष्ठ अध्यापिका जोधपुर),मध्यप्रदेश के झाबुआ जिले से चंदन भाबर, ज्योत्सना मालवीय, रतलाम से केतन जोशी, ऋतेश पवार, अन्य प्रमुख लोगों के साथ गुजरात,दिल्ली,पंजाब,हरियाणा,चंडीगढ़,जम्मू,हिमाचल,झारखंड,महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़,उत्तरप्रदेश,बिहार, उत्तराखंड, तेलगांना, आदि राज्य के शिक्षको ,वरिष्ठ सामाजिक जनों ने भाग लिया।  उसके क्रियान्वयन में शैलेश प्रजापति, नसीमबानुं खोखर, सुमन रानी,चमोली उत्तराखंड, पल्लवी जी,की महत्वपूर्ण भूमिका रही।  देश के इतिहास में यह ऐतिहासिक अवसर था जब पहली बार इतने अधिक शिक्षको भाग लिया । इस कार्यक्रम की आधार शिला विनोद सकवार कटनी, जेनेट बेन व्ही सोलंकी (जेनेट क्रिश्चियन ) अहमदाबाद,कल्पना शाह, सुनीता भटनागर, सुमन रानी,कमलेश पटेल ने अपना पंजीयन कराकर किया। इसको  सफल बनाने में नसीम बानो,नवजीत सिंह, अवर्तिका फर्स्वाण, अकबर अली हमीरपुर, दिनेश भारद्वाज, जयजीत सिंह आदि,के साथ विनोद कुमार उत्तराखंड आदि का विशिष्ट सहयोग रहा।  अंत में कार्यक्रम में आए सभी अतिथियोँ, आयोजकोँ, प्रतिभागियोँ और सभी व्यक्तियों का हार्दिक आभार व्यक्त  पल्लवी शर्मा, ने कर उन्हें बधाइयाँ देकर ऐसे ही प्रगति के पथ पर आगे बढ़ने के लिए प्रेरणा दी। 
अगला सेमिनार ग्लोबल कान्क्लेव संविधान सप्ताह में नवम्बर मैं  नवाचारी शिक्षकों क़ा सम्मान कार्यक्रम अहमदाबाद में  करने की घोषणा राष्ट्रीय समन्वयक शैलेश प्रजापति,गुजरात  ने की। मुश्किल राहें ही सुंदर मंजिलों तक ले जाती है।

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