जिला अस्पताल पन्ना से कर्ज में लाए रुपए मजदूर के गए चोरी

जिला अस्पताल प्रबंधन ने पीड़ित युवक को नहीं दिखाए सीसीटीवी कैमरे, पुलिस ने नहीं की तत्परता पूर्ण कार्यवाही ,पीड़ित मजदूर ने पुलिस अधीक्षक से लगाई न्याय की गुहार


             राम बिहारी गोस्वामी पन्ना मध्य प्रदेश

मध्यप्रदेश के पन्ना जिला अस्पताल में आए दिन चोरी की घटनाएं घटित हो रही हैं । मगर इस पर जिला अस्पताल प्रबंधन और पन्ना कोतवाली पुलिस द्वारा पर्दा डाल दिया जाता है। जिसकी किसी भी प्रकार से एफ आई आर दर्ज नहीं की जाती है। सादा आवेदन में सूचना पत्र लेकर कार्यवाही के नाम पर खानापूर्ति कर दी जाती है और जब कभी कोई आरोपी पुलिस की गिरफ्त में आ गया तब आनन-फानन में एफ आई आर दर्ज कर कार्यवाई की जाती है। ऐसा ही मामला आज एक बार फिर पन्ना जिला अस्पताल का सामने आया है। 1 मार्च 2022 को पीड़ित युवक के रुपए चोरी चले गए हैं मगर 3 मार्च 2022 तक घटना पर प्राथमिक स्तर पर f.i.r. की पावती पीड़ित मजदूर युवक को नहीं दी गई है। जिसके संबंध में पन्ना जिले के रैपुरा तहसील क्षेत्र के ग्राम नादन निवासी विनोद कुमार प्रजापति पिता तननू प्रजापति उम्र 32 वर्ष ने जानकारी देते हुए बताया कि वह विगत दिनों 28 फरवरी 2022 को अपने पत्नी नीलम प्रजापति उम्र 26 वर्ष  को लेकर गंभीर अवस्था में जिला अस्पताल पन्ना लेकर आए थे। जहां पर दोपहर 12:00 बजे ऑपरेशन से उन्हें दूसरी संतान के रूप में बेटी प्राप्त हुई है। पहले से 1 पुत्र है ऐसे परिवार में बेटी के जन्म से खुशियां छाई हुई थी। मगर गंभीर हालत में पत्नी को लाने की वजह से पति विनोद कुमार प्रजापति अपने सगे संबंधी रिश्तेदारों से करीब ₹25000 रूपये उधार लेकर के पन्ना जिला अस्पताल आए हुए थे , कि कहीं इमरजेंसी में प्राइवेट हॉस्पिटल में उपचार कराना पड़ गया तब उन्हें ऐसी परिस्थितियों में पैसों का भुगतान करना पड़ेगा और इसी उद्देश्य वह करीब ₹22000 तथा चार एटीएम कार्ड तीन आधार कार्ड  पर्स में डाले हुए थे।

 1 मार्च 2022 को सुबह लगभग 8:30 से 9:00 के बीच अस्पताल कैंपस में कपड़े उतार कर नहाने लगे,  इसी दौरान वहां पर मौजूद अस्पताल के कुछ कर्मचारी साफ सफाई कर रहे थे ।

इसी दौरान वहां से  उनका पर्स गायब हो गया है। जिसके बाद पीड़ित युवक विनोद प्रजापति द्वारा थाना कोतवाली पन्ना एवं पुलिस अधीक्षक पन्ना तथा जिला अस्पताल पन्ना के सिविल सर्जन के नाम पर शिकायती आवेदन पत्र सौपे गए और जिला अस्पताल में लगाए गए सीसीटीवी कैमरे के फुटेज से जांच कर अज्ञात चोर के विरुद्ध कार्यवाही करते हुए खून पसीने की कमाई ₹22000 एवं जो आवश्यक कागजात चोरी हुए हैं वह वापस दिलाए जाने की मांग की गई है।

सफाई कर्मचारियों और सुरक्षा गार्डों से ठेकेदारों द्वारा न्यूनतम मानदेय पर कराया जाता है कार्य

 ज्ञात हो कि मध्य प्रदेश सरकार द्वारा विगत डेढ़ दशकों से स्वास्थ्य विभाग में ठेके के कर्मचारी सुरक्षा एवं सफाई व्यवस्था में लगाए गए हैं। जिसकी बजह से सफाई कर्मचारियों,सुरक्षा गार्ड का ठेकेदार और अस्पताल प्रबंधन द्वारा लगातार शोषण किया जाता है। उनको जहां ₹5000 से ₹6000 के नियुनतम मानदेय पर कार्य कराया जाता है वहीं दूसरी ओर उनसे सफाई व्यवस्था के अलावा भी कार्य लिया जाता है और उन्हें अतिरिक्त मानदेय नहीं दिया जाता है।  शहर में रहकर ₹5000 में मकान का किराया और लाइट का बिल नहीं चुकता है। ऐसे में वह सफाई कर्मचारी गलत कदम उठाने के लिए भी मजबूर हो जाते हैं। जब से अस्पतालों में ठेके की सफाई व्यवस्था शुरू की गई है तब से लगातार चोरियों की घटनाएं बढ़ती जा रही हैं। इसमें अस्पताल प्रबंधन और पुलिस प्रशासन द्वारा भी कोई ठोस कार्यवाही नहीं की गई है। जिसकी वजह से चोरों के हौसले लगातार बढ़ते जा रहे हैं। पन्ना जिले के समाजसेवी आम आदमी पार्टी के जिला उपाध्यक्ष राम बिहारी गोस्वामी ने पुलिस प्रशासन और अस्पताल प्रबंधन से मांग की है कि गरीब के खून पसीने के पैसे हैं और कर्ज में लाए गए रुपए हैं ₹22000 की रकम गरीब के लिए बहुत भारी होती है। इतनी रकम में गरीब का घर और खेत भी कर्ज में डूब जाएगा। इसलिए जिला अस्पताल में लगाए गए सीसीटीवी कैमरे के फुटेज और वहां पर मौजूद कर्मचारियों की जांच पड़ताल कर पीड़ित युवक की रकम वापस दिलाई जाए। साथ ही जिन असामाजिक तत्वों द्वारा अस्पताल कैंपस के अंदर चोरी की वारदातों को अंजाम दिया जाता है ऐसे लोगों पर सख्त कार्यवाही की जाए। ताकि इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति ना हो सके।

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