शिक्षा हमारे जीवन की मूल आवश्यकता है-दिव्यांशु पटेल

पैतृक गांव के प्राथमिक विद्यालय को आईएएस ने लिया गोद

       गिरजा शंकर गुप्ता/ब्यूरों चीफ
अंबेडकर नगर 28 अप्रैल। जनपद के जलालपुर तहसील के अन्तर्गत ग्राम सभा अजईपुर की  धरती के लाल आई0ए0एस0 दिव्यांशु पटेल ने फिर एक  बार सामाजिक सरोकार के प्रति अपने संकल्प की मिशाल पेश की है उन्होंने अपने गृह जनपद में स्थित ग्राम पंचायत अजईपुर के प्राथमिक विद्यालय को गोद ले कर उसमें लाइब्रेरी,स्मार्ट क्लासेस,सोलर लाइट,ओपन जिम एवं वाटर कूलर आदि व्यवस्था करने का बीड़ा उठाया है। हमारे संवाददाता से बातचीत में दिव्यांशु पटेल बताया है कि शिक्षा हमारे जीवन की मूल आवश्यकता है और छात्र इस देश के भविष्य है  यदि इनकी बुनयादी शिक्षा आधुनिकता से परिपूर्ण ढंग से दी जाएगी तो आगे चलकर ये सब भी अपने जनपद एवं प्रदेश का नाम रोशन कर सकेंगे। आपको बता दें दिव्यांशु पटेल  वर्तमान में उन्नाव जनपद के सीडीओ पद पर तैनात है और और सबसे बड़ी बात यह है कि इन्होंने खुद सरकारी प्राइमरी पाठशाला से शिक्षा ग्रहण की है
         श्री पटेल की आगे की शिक्षा भी सरकारी इंटर कालेज व बाद में दिल्ली विश्वविद्यालय व जेएनयू से प्राप्त की है, आज लोग शिक्षा ग्रहण करने के लिए इंग्लिश मीडियम जैसे प्राइवेट विद्यालयों का सहारा लेकर अपने बच्चों को शिक्षा ग्रहण करवा रहे हैं इनका सरकारी शिक्षण संस्थाओं के प्रति काफी गहरा लगाव है। 
यह पहली बार नही है जब आईएएस दिव्यांशु पटेल सामाजिक कार्यों को लेकर चर्चा में आये हों, करीब 2 साल पहले बाराबंकी जनपद में बतौर जॉइंट मजिस्ट्रेट तैनाती के दौरान अंग्रेजों के समय में स्थापित  तहसीलदार हरिशंकर सिंह की प्रतिमा का जीर्णोद्धार व सरदार पटेल की प्रतिमा की स्थापना जनसहयोग से करा कर श्री पटेल ने अपने प्रखर व्यक्तित्व का परिचय दिया था , इस कार्यक्रम में भाजपा प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने मुख्य अतिथि के रूप में हिस्सा लेते हुए ऐसे कार्यों को हर जनपद में कराए जाने की बात कही थी। शिक्षा व बालिकाओं के सशक्तिकरण में विशेष रुचि रखने वाले श्री पटेल ने बालिकाओं के लिए तहसील परिसर में ही सावित्री बाई फुले लाइब्रेरी भी खुलवाई थी। 
 आईएएस श्री पटेल का एक रूप जहां सौम्य स्वभाव वाले अधिकारी के तौर पर बच्चो व अध्यापकों में अपनी पहचान बना चुके हैं वही अपने हिम्मत और हौंसलों के लिए उन्हें धमकियां भी मिलती रही हैं। बाराबंकी तहसील मस्जिद कांड में जिस तरह से श्री पटेल ने अवैध निर्माण को स्वयं खड़े होकर गिरवाया उसके बाद से ही ये देश विदेश के कट्टरपंथी तत्वों के निशाने पर हैं और इनकी सुरक्षा बढ़ाने की मांग भी सांसद साक्षी महाराज शासन से लिखित में कर चुके हैं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को अपना आदर्श मानने वाले श्री पटेल न सिर्फ अपनी तैनाती के जनपद में शासन के निर्देशों पर तेजी से कार्यवाही करते हैं बल्कि निर्देश जारी होते ही उन्होंने अपने गांव के स्कूल को गोद लेकर अपनी प्रतिबद्धता को साबित किया है।
अमूमन आईएएस जैसे पद को हासिल करने के बाद अपने गांव समाज को भूल जाने की परंपरा के विपरीत जिस तरह से दिव्यांशु पटेल अपने पैतृक गांव का कायाकल्प करने में अथक परिश्रम कर रहे हैं उससे आस पास के इलाके में भी एक उम्मीद है कि वो आगे भी जनपद के विकास के लिए निरन्तर अपना योगदान देते रहेंगे।

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