उतरौला (बलरामपुर)
तेंदुआ और उसका शावक देखे जाने से मंगलवार को गैड़ास बुजुर्ग के पंडित डीह गांव में हड़कंप मच गया। झाड़ियों में शावक के साथ अठखेलियां करते हुए तेंदुए का विडियो बनाकर ग्रामीणों ने वायरल कर दिया। 
हालांकि वीडियो में अस्पष्ट दिखाई नहीं दे रहा है। झाड़ियों में तेंदुआ और शावक होने की खबर क्षेत्र में आग की तरह फैल गई। लोगों में दिनभर दहशत का माहौल रहा।
मौके पर पुलिस और वन विभाग की रेसक्यू टीम पहुंची। काफी मशक्कत के बाद भी उन्हें तेंदुआ नहीं दिखाई दिया। ग्रामीणों का अनुमान है कि तेंदुआ और उसके शावक झाड़ियों की आड़ में वापस बलुआ, बलुई की झाड़ियों से होते हुए मनकापुर जंगल में चले गए होंगे। लोगों में अभी भी डर बना हुआ है। इसलिए यहां के निवासियों की तसल्ली के लिए वन विभाग की टीम ने पूरे दिन तलाशी अभियान चलाया।
ग्रामीणों ने बताया कि उनके घर के पीछे आस-पास खाली भूमि में काफी बड़ी बड़ी झाड़ियां हैं। सुबह झाड़ियों में उन्हें एक तेंदुआ और उसके शावक दिखाई दिए। इस दौरान लोग अपनी छतों से तेंदुआ व शावक को देखने लगे। तेंदुआ और उसका शावक झाड़ियों में गुम हो गए। ग्रामीणों ने गैड़ास बुजुर्ग चौकी प्रभारी को सूचित किया। 
उन्होंने पुलिस को इस संबंध में जानकारी दी। क्षेत्रीय वनाधिकारी बीएस सेंगर वन विभाग व पुलिस की टीम को साथ लेकर मौके पर पहुंचे। दोनों ने मिलकर काफी देर तक तलाशी की लेकिन तेंदुआ नहीं दिखाई दिया। क्षेत्रीय वन अधिकारी ने बताया कि यहां के जंगलों में तेंदुआ प्रजाति नहीं पाया जाता है। फिशिंग कैट के शावक को देखा गया। टीम द्वारा फिशिंग कैट शावक को पकड़ने का प्रयास किया गया लेकिन वह झाड़ियों में कहीं छुप गया है। फिशिंग कैट शावक को पकड़ने के लिए टीम लगा दी गई है। झाड़ियों के तरफ जाल लगा दिए गए हैं। फिशिंग कैट को पकड़ कर जंगल में छोड़ने का प्रयास किया जा रहा है।
ग्रामीणों का कहना है कि बलुआ, बलुई व मनकापुर के जंगलों में वन विभाग की मिलीभगत से अवैध रूप से हो रही पेड़ों की कटान के कारण वन्य प्राणी भाग कर आबादी की तरफ चले आते हैं।
असग़र अली
उतरौला

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