कोई भी दिव्यांग शिक्षा की मुख्यधारा से वंचित न रहे: डीएम


बलरामपुर। संवाददाता


शासन के निर्देश पर कलेक्ट्रेट सभागार में छह से 14 वर्ष के बच्चों को नि:शुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा के तहत समग्र शिक्षा अभियान के पूर्ण दृष्टिबाधित दिव्यांग छात्र-छात्राओं को स्पेशल टॉकिंग टेबलेट दिया गया है। डीएम श्रुति ने 52 दृष्टिबाधित दिव्यांग बच्चों को टेबलेट वितरण किया।


यूनिसेफ के सहयोग से कलेक्ट्रेट सभागार में पूर्ण दृष्टि बाधित दिव्यांग बच्चों का स्पेशल टॉकिंग टेबलेट वितरण कार्यक्रम आयोजित किया गया। यूनिसेफ के आरएन सिंह ने बताया कि समग्र शिक्षा अभियान के तहत बेसिक शिक्षा विभाग में कक्षा एक से कक्षा तीन में अध्ययनरत पूर्ण दृष्टि बाधित दिव्यांग छात्रों को टैबलेट प्रदान किया गया है। टेबलेट में स्पेशल ऑडियो क्लिप के माध्यम से बच्चे शैक्षिक बातों को सुन सकेंगे। यह मूल रूप से गणित एवं भाषा की दक्षताओं पर आधारित है। उन्होंने बताया कि दिव्यांग बच्चों को पढ़ाने के लिए जिले में 33 स्पेशल एजुकेटर तैनात हैं। कार्यक्रम को जिलाधिकारी श्रुति ने संबोधित करते हुए कहा कि दिव्यांग बच्चों की शिक्षा पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। कोई भी बच्चा दिव्यांगता की वजह से शिक्षा के मुख्य धारा से वंचित नहीं रहेगा। दिव्यांग बच्चों में प्रतिभा की कोई कमी नहीं है। बस उनको शिक्षा का समान अवसर मिलना चाहिए। उन्होंने सभी एजुकेटर को दिव्यांग बच्चों के घरों पर जाकर उन्हें शिक्षित करने का निर्देश दिया है। कार्यक्रम का संचालन जिला समन्वयक समेकित शिक्षा आभा त्रिपाठी ने किया। इस अवसर पर जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी ने सभी स्पेशल एजुकेटर को निर्देशित किया कि शासन के मंशानुरूप दिव्यांग बच्चों को शिक्षा की मुख्यधारा में जोड़ने में किसी भी तरह की लापरवाही न करें। घर पर ही उन्हें तालीम दें। इस दौरान जिला व्यायाम शिक्षक राकेश गुप्ता, जिला दिव्यांगजन सशक्तिकरण अधिकारी अजीत सिंह, खंड शिक्षा अधिकारी मनीराम, स्पेशल एजुकेटर कमलेश बहादुर सिंह, मीरा सिंह आदि शामिल रहे।

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