मुख्यमंत्री ने विधान सभा में राज्यपाल जी द्वारा समवेत सदन में दिए गए अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव में विचार व्यक्त किए
राज्य सरकार ने प्रयागराज महाकुम्भ-2025 में श्रद्धालुओं को विश्वस्तरीय सुविधाएं उपलब्ध करायीं, अब तक 63 करोड़ से अधिक श्रद्धालु इस आयोजन का हिस्सा बन चुके : मुख्यमंत्री
उत्तम समय कभी नहीं आता, समय को उत्तम बनाना पड़ता, डबल इंजन सरकार ने समय को उत्तम बनाया
साथ-साथ चलने से ही विकास होगा, यह कुम्भ का सबसे बड़ा संदेश
महाकुम्भ में जाति, क्षेत्र, मत, मजहब, अमीर-गरीब सहित किसी प्रकार का भेदभाव नहीं, सभी लोग एक घाट पर, एक साथ स्नान कर रहे, एकात्मता का इससे बड़ा संदेश कोई और नहीं हो सकता
यह वर्ष भारत के संविधान के लागू होने का अमृत महोत्सव वर्ष, यह भारत के सभी संविधान निर्माताओं के प्रति विनम्र श्रद्धांजलि का समय, सरकार लखनऊ में बाबा साहब डॉ0 भीमराव आंबेडकर के नाम पर एक अन्तरराष्ट्रीय सांस्कृतिक केन्द्र का निर्माण कर रही
हमारी सरकार पिछले पौने आठ वर्ष से उ0प्र0 को उसकी पहचान दिलाने के लिए पूरी प्रतिबद्धता से कार्य कर रही
यू0पी0 ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट-2023 से 40 लाख करोड़ रु0 के निवेश प्रस्ताव मिले, अब तक 15 लाख करोड़ रु0 से अधिक के निवेश प्रस्ताव धरातल पर उतारकर 60 लाख नौजवानों को नौकरी उपलब्ध करायी गई
अगले तीन वर्षों में उ0प्र0 को गरीबी मुक्त करने के लिए प्रदेश सरकार ने जीरो पॉवर्टी अभियान की शुरुआत की, पहले चरण में 13 लाख 57 हजार परिवार चिन्हित
सुशासन की पहली शर्त कानून का राज, प्रदेश सरकार पुलिस रिफॉर्म के कार्यों को लगातार आगे बढ़ा रही, परिणामस्वरूप उ0प्र0 की कानून व्यवस्था देश में नजीर बनी
यू0पी0 112 का रिस्पॉन्स टाइम 25 मिनट 42 सेकेण्ड से घटकर अब 07 मिनट 24 सेकेण्ड हुआ
मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना से 22,11,000 बालिकाएं लाभान्वित हो रहीं, प्रदेश सरकार 01 करोड़ 04 लाख से अधिक लाभार्थियों को निराश्रित महिला पेंशन, दिव्यांगजन पेंशन, वृद्धावस्था पेंशन के तहत प्रति लाभार्थी को 12,000 रु0 प्रतिवर्ष प्रदान कर रही
जेवर इण्टरनेशनल एयरपोर्ट आगामी अप्रैल माह तक क्रियाशील होने जा रहा, गंगा एक्सप्रेस-वे को हरिद्वार तक बढ़ाने की बजट में घोषणा, गंगा एक्सप्रेस-वे को पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे से जोड़ने का निर्णय
राज्य सरकार इण्टीग्रेटेड कैम्पस बनाने की दिशा में प्रयास कर रही, इसमें प्री-प्राइमरी से लेकर 12वीं तक की शिक्षा एक कैम्पस में विद्यार्थियों को मिलेगी
600 मेगावॉट क्षमता की घाटमपुर तापीय विद्युत परियोजना की प्रथम इकाई का कार्य दिसम्बर, 2024 में पूर्ण, द्वितीय व तृतीय इकाई का निर्माण कार्य अगस्त, 2025 तक पूरा कर कर लिया जाएगा
वर्ष 2017 से अब तक राज्य सरकार ने 01 करोड़ 65 लाख लोगों को निःशुल्क बिजली कनेक्शन उपलब्ध कराया गया
वर्ष 2017 से अब तक राज्य सरकार ने लगभग 46 लाख गन्ना किसानों को 2,73,000 करोड़ रु0 का रिकॉर्ड गन्ना मूल्य का भुगतान
वर्ष 2017 के बाद 03 नई चीनी मिलों की स्थापना, 06 चीनी मिलों का पुनर्संचालन तथा 38 चीनी मिलों की क्षमता का विस्तार
धार्मिक, आध्यात्मिक व सांस्कृतिक आयोजनों में पर्यटकों को आकर्षित करने में उ0प्र0 आज शीर्ष स्थान पर, गत वर्ष 65 करोड़ पर्यटक उ0प्र0 आए
गन्ना एवं चीनी उत्पादन, आम उत्पादन, दुग्ध उत्पादन, आलू उत्पादन, शीरा उत्पादन में उ0प्र0 लगातार प्रथम स्थान पर, कृषि निवेश पर किसानों को देय अनुदान में उ0प्र0 प्रथम स्थान पर
राष्ट्रीय शिक्षा नीति के क्रियान्वयन में कौशल विकास नीति के अन्तर्गत कार्य करने में उ0प्र0 का प्रथम स्थान
लखनऊ : 24 फरवरी, 2025
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि राज्य सरकार ने प्रयागराज महाकुम्भ-2025 में श्रद्धालुओं को विश्वस्तरीय सुविधाएं उपलब्ध करायी हैं। भारत की जनसंख्या 144 करोड़ है। इसमें सनातन धर्मावलम्बियों की संख्या 110 करोड़ है। अब तक 63 करोड़ से अधिक श्रद्धालु इस आयोजन का हिस्सा बन चुके हैं। आगामी 26 फरवरी को महाशिवरात्रि के पर्व के उपरान्त यह संख्या 65 करोड़ पार कर जाने का अनुमान है।
मुख्यमंत्री जी आज विधान सभा में राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल जी द्वारा राज्य विधान मण्डल के समवेत सदन में दिए गए अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव का समर्थन करते हुए अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। उन्हांने कहा कि राज्यपाल जी के अभिभाषण पर चर्चा में सत्ता पक्ष और विपक्ष के कुल 146 सदस्यों ने भाग लिया है। सत्ता पक्ष के 98 और प्रतिपक्ष के 48 सदस्यों ने चर्चा में भाग लिया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रयागराज महाकुम्भ में देश और दुनिया से बड़ी संख्या में लोग आ रहे हैं। राष्ट्रपति जी, प्रधानमंत्री जी, उपराष्ट्रपति जी, भूटान नरेश और 74 देशों के मिशन प्रमुख महाकुम्भ में आए। इन सभी ने महाकुम्भ के आयोजन में भागीदार बनकर इसे सफल बनाया। इससे यह वैश्विक आयोजन बना है। पहली बार उत्तर, दक्षिण, पूरब और पश्चिम से लोग आए हैं और सभी ने इस आयोजन का हिस्सा बनकर इसे सफल बनाया। जो भी महाकुम्भ आ रहा है, वह अभिभूत होकर जा रहा है। महाकुम्भ में जाने से किसी को रोका नहीं गया है। जो भी सद्भाव से जाना चाहे, वहां जा सकता है। यदि कोई किसी दुर्भावना से वहां गया और अव्यवस्था करने का प्रयास किया, तो इसकी इजाजत नहीं होगी।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि दुनिया में कहीं भी ऐसा आयोजन नहीं होता है, जिसमें इतनी बड़ी संख्या में श्रद्धालु उपस्थित होते हैं और एक साथ एक मंच पर आते हैं। गत वर्ष अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि में श्रीरामलला की भव्य प्राण प्रतिष्ठा हुई। इस वर्ष हमें महाकुम्भ के आयोजन से जुड़ने का अवसर प्राप्त हुआ। महाकुम्भ के साथ-साथ अयोध्या एवं काशी को भी नजदीक से देखने का अवसर आमजन को प्राप्त हुआ है। अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि में श्रीरामलला का विराजमान होना और महाकुम्भ का आयोजन ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ के प्रधानमंत्री जी के विजन की दृष्टि से उत्तर प्रदेश और देश के लिए मील का पत्थर साबित होने वाले हैं। भारत की आध्यात्मिक परम्परा तथा आर्थिकी के लिए भी यह आयोजन महत्वपूर्ण होने जा रहे हैं। इन आयोजनों के प्रति लोगों के मन में जो भाव आया है, वह राष्ट्रीय एकता को मजबूत करने वाला है। महाकुम्भ में जाति, क्षेत्र, मत, मजहब, अमीर-गरीब सहित किसी भी प्रकार का भेदभाव नहीं है। सभी लोग एक घाट पर, एक साथ स्नान कर रहे हैं। एकात्मता का इससे बड़ा संदेश कोई और नहीं हो सकता। यही सच्चा सनातन धर्म है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि किसी महानुभाव की टिप्पणी ‘महाकुम्भ में जिसने जो तलाशा, उसको वह मिला। संवेदनशील लोगों को रिश्तों की खूबसूरत तस्वीर मिली, आस्थावानों को पुण्य मिला, सज्जनों को सज्जनता मिली, गरीबों को रोजगार मिला, अमीरों को धंधा मिला, श्रद्धालुओं को साफ-सुथरी व्यवस्था मिली, सद्भावना वाले लोगों को जाति रहित व्यवस्था मिली, भक्तों को भगवान मिले। सबने अपने स्वभाव और चरित्र के अनुसार चीजों को देखा। एक ही घाट पर सभी जातियों के तीर्थ यात्री बिना किसी भेदभाव के नहाते रहे।’ भारत की भावनाओं की अभिव्यक्ति है। महाकुम्भ ने पूरी दुनिया को भारत की एकता का संदेश देकर, एक भारत श्रेष्ठ भारत के प्रधानमंत्री जी के विजन को चरितार्थ करके दिखा दिया है। यह आयोजन भारत के विश्वास की अभिव्यक्ति भी है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि हम भारत में जन्म लेने वाले हर महापुरुष, महात्मा बुद्ध और जैन परम्परा में ऋषभदेव से लेकर स्वामी महावीर तक सभी तीर्थंकरों के प्रति सम्मान का भाव रखते हैं। हमारी सरकार बौद्ध तीर्थस्थलों के सुन्दरीकरण और पुनरोद्धार के कार्यों को भी पूरी प्रतिबद्धता से कर रही है। गुरु गोबिंद सिंह जी महाराज के चार-चार साहिबजादों की शहादत के प्रति सम्मान का भाव व्यक्त करने के लिए प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में हमारी सरकार ने 26 दिसम्बर की तिथि को ‘वीर बाल दिवस’ के रूप में घोषित किया है। यह पहली बार हुआ है कि गुरु वाणी का पाठ मुख्यमंत्री आवास पर निरन्तर आयोजित किया जा रहा है। कबीर पंथ, संत रविदासी परम्परा तथा महर्षि वाल्मीकि की परम्परा सहित भारत की हर उस उपासना पद्धति के प्रति हमारे मन में सम्मान का भाव है, जिससे सनातन धर्म को मजबूती प्रदान होती हो और देश ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ के रूप में आगे बढ़ता हो।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि देश के द्वितीय राष्ट्रपति डॉ0 एस0 राधाकृष्णन ने कहा था कि मानव का मानव होना एक उपलब्धि है, मानव का दानव होना उसकी पराजय है और मानव का महामानव होना उसकी विजय है। यह तीन श्रेणियां सदैव रही हैं। यह तीन श्रेणियां हमें बहुत सी प्रेरणा देती हैं। जो स्वार्थ भावना से ऊपर उठकर परमार्थ भाव से कार्य करता है, वही महामानव है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि यह वर्ष भारत के संविधान के लागू होने का अमृत महोत्सव वर्ष भी है। यह भारत के सभी संविधान निर्माताओं के प्रति एक विनम्र श्रद्धांजलि का समय है। 26 जनवरी, 1950 को भारत का संविधान लागू हुआ था। बाबा साहब डॉ0 भीमराव आंबेडकर जी ने संविधान के शिल्पी का कार्य किया। बाबा साहब डॉ0 भीमराव आंबेडकर जी से जुड़े पंच तीर्थ का निर्माण प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में किया गया है। डबल इंजन सरकार लखनऊ में बाबा साहब डॉ0 भीमराव आंबेडकर के नाम पर एक अन्तरराष्ट्रीय सांस्कृतिक केन्द्र का निर्माण कर रही है। 26 नवम्बर की तिथि को ‘संविधान दिवस’ के रूप में मनाकर बाबा साहब डॉ0 भीमराव आंबेडकर के प्रति सम्मान का भाव व्यक्त करने का कार्य भी हमारी सरकार कर रही है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि संत रविदास के प्रति सम्मान का भाव व्यक्त करने के लिए काशी के सीर गोवर्धन तथा महर्षि वाल्मीकि की पावन तपोस्थली लालापुर, चित्रकूट के सौन्दर्यीकरण का कार्य हमारी सरकार कर रही है। बहराइच में महाराजा सुहेलदेव का विजय स्तम्भ स्मारक बनाने तथा श्रृंगवेरपुर में निषादराज गुह्य का स्मारक और भगवान श्रीराम के साथ उनकी 56 फीट ऊँची प्रतिमा व उसे कॉरिडोर के रूप में विकसित करने कार्य भी डबल इंजन सरकार कर रही है। यह वर्ष पुण्यश्लोका माता अहिल्याबाई होल्कर का 300वां जयन्ती वर्ष भी है। सरकार उनके नाम पर एक बड़ी योजना को आगे बढ़ा रही है। संत कबीर, संत रविदास तथा सरदार वल्लभ भाई पटेल के नाम पर हमारी सरकार योजनाएं ला रही है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि यह वर्ष काकोरी ट्रेन एक्शन का शताब्दी वर्ष भी है। काकोरी ट्रेन एक्शन देश के स्वाधीनता आन्दोलन का एक महत्वपूर्ण अध्याय है। यह सभी क्रांतिकारियों के प्रति सम्मान का भाव व्यक्त करने का अवसर है। हमारी सरकार इसका आयोजन पूरी भव्यता के साथ कर रही है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि हमारी सरकार पिछले पौने आठ वर्ष से उत्तर प्रदेश को उसकी पहचान दिलाने के लिए पूरी प्रतिबद्धता से कार्य कर रही है। इसकी शुरुआत हमारी सरकार की गठन के तत्काल बाद उत्तर प्रदेश के स्थापना दिवस के आयोजन के साथ ही कर दी गई थी। 24 जनवरी, 1950 को जब उत्तर प्रदेश के नाम का नोटिफिकेशन जारी हुआ, तब से 24 जनवरी, 2017 तक कभी भी उत्तर प्रदेश दिवस नहीं मनाया गया। 24 जनवरी, 2018 को हमारी सरकार ने तत्कालीन राज्यपाल श्री राम नाईक के आग्रह पर इस आयोजन को भव्यता के साथ मनाना प्रारम्भ किया। हमने इस आयोजन के साथ हर बार कुछ नया करने का प्रयास किया, जो उत्तर प्रदेश को पहचान दिलाने की दृष्टि से महत्वपूर्ण है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रथम उत्तर प्रदेश दिवस के अवसर पर ‘वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट’ योजना लॉन्च की गई थी। एक जनपद एक उत्पाद योजना ने उत्तर प्रदेश को एक पहचान दी। यह देश में एक ब्राण्ड के रूप में स्थापित हुई है। इसने उत्तर प्रदेश के एक्सपोर्ट को बढ़ाया है। उत्तर प्रदेश वर्तमान में सवा दो से ढाई लाख करोड़ रुपये के प्रोडक्ट का निर्यात कर रहा है। हमारी सरकार ने मथुरा-वृन्दावन, ब्रज तीर्थ तथा अयोध्या के विकास की कार्य योजना को आगे बढ़ाया। आज अयोध्या में 08 से 10 लाख श्रद्धालु प्रतिदिन आ रहे हैं। यदि अयोध्या की सड़कों को 4-लेन का नहीं बनाया गया होता, यहां इण्टरनेशनल एयरपोर्ट नहीं बना होता और चार-चार रेलवे स्टेशनों के सुन्दरीकरण नहीं होते, तो इतने अधिक संख्या में श्रद्धालु अयोध्या में नहीं आ पाते।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि अयोध्या में लोग भव्यता से दर्शन कर रहे हैं। लोगों को रोजगार मिल रहा है। नाविकों, होटल वालों, गाइड और मकान मालिकों की आय बढ़ रही है। अयोध्या में 1700 करोड़ रुपये से अधिक कम्पनसेशन के लिए खर्च किए गए। मांझा जमथरा में सेना द्वारा शूटिंग के लिए 14 गांवों की भूमि को अधिसूचित किया गया था, लेकिन कभी उसका प्रयोग नहीं किया गया था। हमने उस भूमि को डीनोटिफाई किया है। इसका कॉमर्शियल उपयोग नहीं किया जाएगा। हमने उस भूमि को मन्दिर म्यूजियम के लिए लिया है। इससे अयोध्या आने वाले लोगों को श्रीराम जन्मभूमि के साथ ही अन्य दर्शनीय स्थल भी देखने को मिलेंगे।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि 24 जनवरी, 2019 को हस्तशिल्पियों के प्रति सम्मान का भाव व्यक्त करने के लिए ‘विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना’ घोषित की गई थी। राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने ग्राम स्वराज की बात की थी। पहले गांव आत्मनिर्भर होते थे। लोग सरकार पर आश्रित नहीं थे। वह आपस में मिलकर ग्राम व्यवस्था का संचालन करते थे। हमारे गांव तथा शहरों में हस्तशिल्पी थे, जो अलग अलग प्रकृति के कार्य करते थे। पहली बार हमारी सरकार ने उनके श्रम को सम्मान दिया है। प्रदेश सरकार ने वर्ष 2019 में विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना के माध्यम से 16 श्रेणियां तय की, जिसके अन्तर्गत राजमिस्त्री, बढ़ई, लोहार से लेकर सभी हस्तशिल्पियों की पहचान कर उनकी ट्रेनिंग कराई गई, उन्हें टूलकिट उपलब्ध कराए गए और सस्ते लोन उपलब्ध कराने की कार्यवाही से जोड़कर उनके जीवन में परिवर्तन लाने का कार्य किया गया। आज वह पी0एम0 विश्वकर्मा योजना के अन्तर्गत देश में सम्मान प्राप्त कर रहे है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वर्ष 2020 में उत्तर प्रदेश दिवस के अवसर पर ‘मिशन शक्ति’ अभियान की शुरुआत की गई थी। इसमें महिला सुरक्षा, सम्मान तथा स्वावलम्बन के साथ ही महिलाओं को रोजगार उपलब्ध कराने के कार्यक्रम आगे बढ़ाए गए थे। वर्ष 2021 में उत्तर प्रदेश दिवस के अवसर पर महिला, युवा, किसान के विकास और सम्मान के कार्यों को आगे बढ़ाने का कार्य किया गया। वर्ष 2022 में उत्तर प्रदेश दिवस को आजादी के अमृत महोत्सव वर्ष के साथ जोड़ा गया। जिसमें स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के स्मारक को भव्य स्वरूप देना, उनका सौन्दर्यीकरण करना और चौरी-चौरा शताब्दी महोत्सव के कार्यक्रमों को हमने प्राथमिकता के साथ आगे बढ़ाने का कार्य किया।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वर्ष 2023 में निवेश और रोजगार के कार्यक्रम को आगे बढ़ाया गया था। यू0पी0 ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के माध्यम से हमें 40 लाख करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए। अब तक 15 लाख करोड़ रुपये से अधिक के निवेश प्रस्ताव धरातल पर उतारे जा चुके हैं। इसके माध्यम से 60 लाख नौजवानों को नौकरी उपलब्ध करायी जा चुकी है। वर्ष 2024 में उत्तर प्रदेश की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को आगे बढ़ाने के लिए कार्य किया गया। 500 वर्षों के बाद अयोध्या में श्रीरामलला के विराजमान होने से जुड़े कार्यक्रमों को आगे बढ़ाने का काम किया गया।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वर्ष 2025 में 24 जनवरी के दिन हमने ‘मुख्यमंत्री युवा उद्यमी विकास अभियान’ लागू किया है। इसके अन्तर्गत उत्तर प्रदेश में नये उद्यम स्थापित करने के लिए युवा उद्यमियों को पहले चरण में 05 लाख रुपये तक का ब्याज मुक्त लोन दिया जाएगा। इस योजना की सफलता का अनुमान इस बात से लगाया जा सकता है कि अब तक 96 हजार से अधिक आवेदन आ चुके हैं। 06 हजार लोगों को लोन वितरित किए जा चुके हैं। 15 से 16 हजार आवेदन बैंक से स्वीकृत हो चुके हैं। पहले उत्तर प्रदेश का नौजवान पलायन करता था, आज वह पलायन नहीं करता, बल्कि अपनी प्रतिभा का उपयोग उत्तर प्रदेश के निर्माण के लिए प्रदेश में रहकर ही कर रहा है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रधानमंत्री आवास योजना के अन्तर्गत वर्ष 2014 से अब तक देश में चार करोड़ गरीबों के आवास बने हैं। उत्तर प्रदेश में वर्ष 2017 के बाद 56 लाख गरीबों के एक-एक आवास बनाए जा चुके हैं। वर्ष 2014 से ही भारत में ‘स्वच्छ भारत मिशन’ लागू हुआ। अप्रैल 2017 से लेकर अब तक प्रदेश में लगभग पौने तीन करोड़ परिवारों के लिए एक-एक शौचालय बनाया गया है। आजादी के बाद भी वन्य गांवों को न्याय नहीं मिल पाया था। उन्हें मतदाता नहीं बनाया गया। उन्हें राजस्व ग्राम के रूप में मान्यता नहीं मिली थी, वहां बुनियादी सुविधाओं का अभाव था। वर्ष 2017 में हमारी सरकार ने 56 से अधिक ऐसे गांवों को राजस्व ग्राम के रूप में मान्यता दी और उन्हें समाज व राष्ट्र की मुख्यधारा से जोड़ा।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि थारू, कोल, चेरो, गोंड, सहरिया, मुसहर जातियां प्रदेश के अलग-अलग जनपदों में रहती हैं। पहले यह उपेक्षित थीं। हमारी सरकार ने इन्हें जमीन के पट्टे तथा एक-एक आवास देने का कार्य किया है। इन सभी को सैचुरेशन के लक्ष्य तक पहुंचाने के कार्यक्रम आगे बढ़ाया गया है। पहली बार पी0एम0 स्वामित्व योजना के अंतर्गत देश के 02 करोड़ लोगों को जहां पर उनके मकान है, उस जमीन का पट्टा दिलाने का कार्य हुआ है। इनमें से एक करोड़ परिवार अकेले उत्तर प्रदेश के हैं, जिन्हें ड्रोन सर्वे तथा खुली बैठक में सीमांकन की कार्यवाही कर जमीन का मालिकाना हक दिया गया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि उत्तर प्रदेश देश का सर्वाधिक आबादी वाला राज्य है। पिछले पौने 08 वर्षां में 06 करोड़ से अधिक लोगों को प्रदेश में गरीबी रेखा से ऊपर उठाने में मदद मिली है। देश में लगभग 25 करोड़ लोग गरीबी रेखा से ऊपर उठे हैं। अगले तीन वर्षों में उत्तर प्रदेश को गरीबी मुक्त करने के लिए प्रदेश सरकार ने जीरो पॉवर्टी अभियान की शुरुआत की है। इस अभियान के अंतर्गत सरकार ने सर्वे का पहला कार्य पूरा कर लिया गया है। पहले चरण में 13 लाख 57 हजार ऐसे परिवार चिन्हित किये गये हैं। अगले दो वर्षों में हम उनके जीवन स्तर को इतना बढ़ाएंगे कि हर परिवार सवा लाख रुपये से लेकर डेढ़ लाख रुपये सालाना कमाने की सामर्थ्य अर्जित कर सकेगा। उन्हें सरकार की विभिन्न योजनाओं का लाभ दिया जाएगा। सरकार ने इसके लिए बजट में अलग से व्यवस्था की है। कन्वर्जन के माध्यम से भी यह कार्य किया जाएगा।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि हमने प्रदेश के गरीब को सम्मान दिलाने का कार्य किया है। शिक्षा का मॉडल भविष्य में कैसा होगा, इसके अटल आवासीय विद्यालय बेहतर उदाहरण हैं। एक गरीब व श्रमिक का बच्चा भी सी0बी0एस0ई0 बोर्ड से जुड़े विश्वस्तरीय शिक्षा के केन्द्र में शिक्षा अर्जित कर सकता है, यह कार्य राज्य सरकार ने किया है। सरकार प्रधानमंत्री जी के विजन के अनुरूप विद्यार्थियों को स्किल डेवलपमेण्ट के कार्यों व अप्रेन्टिस योजना से जोड़ेगी।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि सुशासन की पहली शर्त कानून का राज है। प्रदेश सरकार तकनीक का उपयोग, पारदर्शी व्यवस्था, पुलिस आधुनिकीकरण और पुलिस रिफॉर्म के कार्यों को लगातार आगे बढ़ा रही है। परिणामस्वरूप उत्तर प्रदेश की कानून व्यवस्था देश में नजीर बनी हुई है, जिसकी चर्चा आज हर कोई करता है। आज प्रदेश व देश के बाहर उत्तरप्रदेशवासियों को सम्मान की नजर से देखा जाता है। प्रदेश में बढ़ता हुआ निवेश और महाकुम्भ इसके उदाहरण हैं। प्रधानमंत्री जी ने महाकुम्भ में कार्यरत व सेवाएं दे रहे स्वच्छताकर्मियों, गंगा मित्रों और उत्तर प्रदेश पुलिस की प्रशंसा की है। उन्होंने उत्तर प्रदेश पुलिस के व्यवहार और मेहनत की सराहना की है, जो उत्तर प्रदेश पुलिस के लिए बहुत बड़ी उपलब्धि है। प्रयागराज महाकुम्भ आए श्रद्धालुओं ने भी उत्तर प्रदेश पुलिस के व्यवहार की सराहना की है।
उत्तर प्रदेश पुलिस गुण्डों से सख्ती से निपट रही है तथा सज्जनों को संरक्षण प्रदान कर रही है। एन0सी0आर0बी0 के आंकड़ें यह दिखाते हैं कि वर्ष 2016 की तुलना में डकैती की घटना में 84.41 प्रतिशत की कमी आयी, लूट में 77.73 प्रतिशत की कमी, हत्या में 41.01 प्रतिशत की कमी, बलवा की घटनाओं में 66.40 प्रतिशत की कमी, फिरौती के लिए अपहरण की घटनाओं में 54.72 प्रतिशत की कमी आयी है। दहेज हत्या में 17.08 प्रतिशत की कमी, बलात्कार की घटनाओं में 26.15 प्रतिशत की कमी आई है। महिला सम्बन्धी अपराधों में संलिप्त अपराधियों को सजा दिलाने में उत्तर प्रदेश, देश में प्रथम स्थान पर है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि राज्य सरकार ने प्रदेश के 07 जनपदों-लखनऊ, गौतमबुद्धनगर, कानपुर, वाराणसी, आगरा, गाजियाबाद और प्रयागराज में पुलिस कमिश्नरेट सिस्टम लागू किया। पुलिस कमिश्नरेट सिस्टम लागू करने की बात वर्ष 1973-74 से चल रही थी, कोई भी यह व्यवस्था लागू नहीं कर पाया। सहारनपुर, बहराइच, अलीगढ़, कानपुर सहित कई जनपदों में हमने ए0टी0एस0 की नई फील्ड यूनिट गठित की है। तीन महिला पी0ए0सी0 लखनऊ, गोरखपुर और बदायूं में स्थापित की गयी हैं। बलरामपुर, जालौन, मिर्जापुर, शामली और बिजनौर में पांच अन्य पी0ए0सी0 बटालियन स्थापित करने की कार्रवाई प्रदेश सरकार कर रही है। साथ ही, एक स्पेशल सिक्योरिटी फोर्स का गठन किया है, जो मेट्रो, एयरपोर्ट सहित अन्य प्रमुख प्रतिष्ठानों की सुरक्षा में योगदान दे रही है। इसकी 06 कम्पनियों का गठन किया गया है। एण्टी नार्कोटिक्स टास्क फोर्स का गठन भी प्रदेश सरकार ने किया है।
साइबर क्राइम मुख्यालय, लखनऊ में एडवांस साइबर फॉरेंसिक लैब, 18 मण्डलों के परिक्षेत्रीय थानों में बेसिक साइबर फॉरेंसिक लैब और 57 जनपदों में साइबर क्राइम थानों की स्थापना की कार्यवाही राज्य सरकार ने की है। 75 जनपदों में साइबर सेल क्रियाशील किए गए हैं। हर थाने में एक साइबर हेल्प डेस्क का गठन किया है। राज्य सरकार ने उत्तर प्रदेश स्टेट फॉरेंसिक इंस्टीट्यूट की स्थापना करायी है, जो संचालित भी हो गया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती में वर्ष 2017 से अब तक 1,56,000 विभिन्न पदों पर भर्ती सम्पन्न की जा चुकी हैं। इस समय 6,200 पुलिस कार्मिकों की भर्ती हो रही है, जो शीघ्र ही ट्रेनिंग के लिए जाएंगे। इसके अलावा 30,000 अभ्यर्थियों के लिए नई भर्तियां भी आ रही हैं। प्रदेश सरकार ने उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती में महिलाओं के लिए 20 प्रतिशत आरक्षण का प्राविधान किया है। महिला वर्कफोर्स वर्ष 2018 के 14.2 प्रतिशत से आज बढ़कर 35.01 प्रतिशत हो गया है।
यू0पी0-112 की कार्यप्रणाली में वर्ष 2017 की तुलना में वर्ष 2024 में अभूतपूर्व सुधार हुआ है। यू0पी0 112 का रिस्पॉन्स टाइम 25 मिनट 42 सेकेण्ड से घटकर अब
07 मिनट 24 सेकेण्ड हुआ है। ऑपरेशन त्रिनेत्र के अन्तर्गत 11 लाख से अधिक सी0सी0टी0वी0 कैमरे पुलिस विभाग, नगर विकास विभाग और जनप्रतिनिधियों तथा जनता के सहयोग से स्थापित किए गए हैं। ऑपरेशन कनविक्शन के तहत जुलाई, 2023 से दिसम्बर, 2024 तक 51 अभियुक्तों को मृत्युदण्ड, 6,287 अभियुक्तों को आजीवन कारावास, 1091 अभियुक्तों को 20 वर्ष से अधिक का कारावास, 3,867 अभियुक्तों को 10 वर्ष से 19 वर्ष तक का कारावास और 5,788 अभियुक्तों को 05 वर्ष से 09 वर्ष तक की सजा तथा 51,748 अभियुक्तों को 05 वर्ष तक की सजा से दण्डित कराया गया है।
नवम्बर, 2019 से माफिया गैंग के विरुद्ध विचाराधीन कार्यवाही में प्रभावी कार्रवाई करते हुए 31 माफियाओं और 7,400 अपराधियों को अलग-अलग अभियोगों में आजीवन कारावास व अर्थदण्ड से दण्डित कराने के साथ-साथ 02 को मृत्युदण्ड दिलाया गया है। पहली बार देश में तीन नये आपराधिक कानूनों को सफलतापूर्वक उत्तर प्रदेश में लागू करने का कार्य हुआ है। ए0टी0एस0 को अत्याधुनिक तकनीक और अस्त्र-शस्त्र प्रदान करते हुए वर्ष 2017 से अब तक 130 आतंकवादियों को और 171 रोहिंग्याओं को गिरफ्तार किया गया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना से 22,11,000 बालिकाएं लाभान्वित हो रही हैं। प्रदेश सरकार द्वारा निराश्रित महिला पेंशन योजना, दिव्यांगजन पेंशन योजना, वृद्धावस्था पेंशन योजना के प्रति लाभार्थी को 1,000 रुपये प्रतिमाह अर्थात 12,000 रुपये प्रतिवर्ष प्रदान किये जा रहे हैं। 01 करोड़ 04 लाख से अधिक परिवारों को यह पेंशन की सुविधा प्राप्त हो रही है। मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना में 3,22,000 जोड़ों की शादी सम्पन्न हुई है। इसके अन्तर्गत गरीब कन्याओं की शादी करायी जाती है। नमो ड्रोन दीदी सफलतापूर्वक अपने कार्यों को आगे बढ़ा रही हैं।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि औद्योगिक निवेश के लिए सरकार ने 33 सेक्टोरल पॉलिसी बनाई हैं। सरकार ने सिंगल विण्डो सिस्टम को लागू किया है, जो बिना किसी मानवीय हस्तक्षेप के लगभग 500 प्रकार की सेवाएं प्रदान कर रहा है। एम0ओ0यू0 की नियमित मॉनीटरिंग के लिए निवेश सारथी पोर्टल बनाया गया है। निवेश करने वाले उद्यमियों को इन्सेन्टिव ऑनलाइन प्राप्त हो रहा है। इसी का परिणाम है कि ईज ऑफ डूइंग बिजनेस में उत्तर प्रदेश को टॉप अचीवर स्टेट का सम्मान प्राप्त हुआ है।
उत्तर प्रदेश में आज निवेश की कमी नहीं है। लखनऊ-हरदोई बॉर्डर पर मेगा इण्टीग्रेटेड टेक्सटाइल पार्क का निर्माण का कार्य होने जा रहा है। हरदोई व कानपुर में एक-एक मेगा लेदर पार्क, गोरखपुर में प्लास्टिक पार्क, कन्नौज में परफ्यूम पार्क और गाजियाबाद, लखनऊ, कानपुर, गोरखपुर व हापुड़ में केमिकल पार्क और फार्मा पार्क तथा जेवर के पास मेडिकल डिवाइस पार्क स्थापित हो रहा है। ललितपुर में फार्मा पार्क बन रहा है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वर्ष 2016-17 में उत्तर प्रदेश की प्रति व्यक्ति आय 48,520 रुपये थी। 03 वर्ष कोविड महामारी के बावजूद वर्ष 2023-24 में प्रति व्यक्ति आय बढ़कर 93,514 रुपये हो गई है, जो लगभग दोगुनी है। उत्तर प्रदेश की जी0डी0पी0 वर्ष 2016-17 में 12 लाख 82 हजार करोड़ रुपये की थी, जो वर्ष 2023-24 में बढ़कर 25 लाख 48,000 करोड़ रुपये से अधिक हो गयी है। इस वित्तीय वर्ष में यह 27.5 लाख करोड़ रुपये से अधिक की होने जा रही है। यदि इसमें महाकुम्भ के योगदान को भी जोड़ लिया जाए, तो यह 30 लाख करोड़ रुपये के आंकड़े को क्रॉस कर जाएगी।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि पौने आठ वर्षों में उत्तर प्रदेश में इन्फ्रास्ट्रक्चर की दिशा में बेहतरीन कार्य हुए हैं। उत्तर प्रदेश आज देश का एक्सप्रेस-वे स्टेट बन चुका है। गंगा एक्सप्रेस-वे बनने के बाद देश के एक्सप्रेस-वे का 55 प्रतिशत उत्तर प्रदेश में होगा। सबसे अच्छा रेल नेटवर्क व हाइवे नेटवर्क उत्तर प्रदेश के पास है। 250 तक की आबादी के मजरों को प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के साथ जोड़ने का अनुमोदन दिया जा चुका है। प्रदेश में हर जनपद को 4-लेन के साथ, हर तहसील को 4-लेन की कनेक्टिविटी के साथ जोड़ने के कार्यक्रम को हमने आगे बढ़ाने का निश्चय किया है। इसके अलावा ब्लॉक मुख्यालय को 2-लेन के साथ जोड़ने की कार्यवाही को सरकार ने आगे बढ़ाया है। इण्टरस्टेट कनेक्टिविटी को 4-लेन के साथ जोड़ने की कार्रवाई के अंतिम चरण को सरकार आगे बढ़ा रही है।
प्रदेश में वर्ष 2017 के पहले मात्र 02 एयरपोर्ट क्रियाशील थे। आज उत्तर प्रदेश में 04 इण्टरनेशनल एयरपोर्ट पूर्ण रूप से क्रियाशील हैं। 16 डोमेस्टिक एयरपोर्ट क्रियाशील हो चुके हैं। 06 एयरपोर्ट पर कार्य चल रहा है। भारत के सबसे बड़ा एयरपोर्ट जेवर इण्टरनेशनल एयरपोर्ट को आगामी अप्रैल माह तक क्रियाशील करने जा रहे हैं। इसके अलावा, प्रदेश में नए लिंक एक्सप्रेस-वे की घोषणा की गई है। गंगा एक्सप्रेस-वे को हरिद्वार तक बढ़ाने की घोषणा बजट में की जा चुकी है। गंगा एक्सप्रेस-वे को पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे से जोड़ने का राज्य सरकार ने निर्णय लिया है। गाजीपुर, चन्दौली और सोनभद्र के लिए गाजीपुर से पूर्वांचल एक्सप्रेस वे को चन्दौली, शक्तिनगर होते हुए सोनभद्र से जोड़ने का कार्य प्रदेश सरकार करेगी। इसके लिए बजट में प्राविधान किया गया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि गंगा एक्सप्रेस-वे प्रयागराज से चित्रकूट होते हुए बुन्देलखण्ड एक्सप्रेस-वे से जुड़ेगा। प्रयागराज में 02 नए पुल एक गंगा जी पर शास्त्री ब्रिज के पैरलल एक नया ब्रिज और दूसरा यमुना जी पर सिग्नेचर ब्रिज के पैरलल एक नया ब्रिज बनाने की घोषणा सरकार ने अपने बजट में की है। इनलैण्ड वॉटर-वे अथॉरिटी का गठन हो चुका है। अब तक वाराणसी तक इनलैण्ड वॉटर-वे की सुविधा है, जिसे हम लोग प्रयागराज तक और बलिया से अयोध्या तक आगे बढ़ाने की कार्यवाही करने जा रहे हैं। इससे एक्सपोर्ट की सुविधा में वृद्धि होगी।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रधानमंत्री जी ने आज प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की 19वीं किस्त जारी की है। हम सभी प्रधानमंत्री जी के आभारी हैं, जिन्होंने आज सीधे 5,583 करोड़ रुपये प्रदेश के किसानों के बैंक खाते में भेजने का कार्य किया है। अब तक लगभग 80,000 करोड़ रुपये उत्तर प्रदेश के अन्नदाता किसानों के बैंक खाते में प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि के रूप में अन्तरित किए जा चुके हैं।
सी0ए0जी0 की रिपोर्ट के अनुसार वर्ष 2012 से वर्ष 2015-16 तक 07 लाख स्टूडेण्ट स्कूलों में कम हुए थे। वर्ष 2012 से वर्ष 2016 के मध्य 06 लाख 22 हजार बच्चों को किताबें उपलब्ध नहीं हुई थीं। 32.21 प्रतिशत बच्चे ऐसे रहे, जिन्हें स्कूल खुलने से 05 माह तक किताबें ही उपलब्ध नहीं हो पाई थीं। वर्ष 2010 से 2016 की अवधि में 18 करोड़ 35 लाख किताबों के सापेक्ष 05 करोड़ 91 लाख किताबें अगस्त या उसके बाद बांटी गईं। दो यूनिफॉर्म बांटी जाती थी, लेकिन एक ही बांटी गई। बच्चे स्कूलों पर टाट-पट्टी में बैठने के लिए मजबूर थे। पहले ज्यादातर बच्चों के पास स्कूल यूनिफॉर्म नहीं होती थी। बच्चे नंगे पैर स्कूल जाते थे।
प्रदेश में ऑपरेशन कायाकल्प के माध्यम से बेसिक शिक्षा परिषद के स्कूलों बेहतर इन्फ्रास्ट्रक्चर, बालक-बालिकाओं के लिए अलग-अलग शौचालय की सुविधा, पेयजल, स्मार्ट क्लास, लाइब्रेरी इत्यादि सुविधाएं उपलब्ध करायी गयीं हैं। बच्चों को दो यूनिफॉर्म, स्वेटर, जूते-मोजे, बैग यह सभी उपलब्ध करवाने के कार्य हुए हैं। इसके लिए प्रदेश सरकार द्वारा प्रति बच्चा 1200 रुपये की धनराशि डी0बी0टी0 के माध्यम से प्रदान की जा रही है। 01 करोड़ 91 लाख बच्चों को प्रदेश में यह सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। इसके अलावा प्रदेश में पी0एम0 श्री योजना के अंतर्गत 1,565 विद्यालयों में आधुनिक अवस्थापना सुविधाओं के लिए भारत सरकार के सहयोग से कार्य किया जा रहा है। 6,481 जर्जर विद्यालयों के पुनर्निर्माण का कार्य भी किया जा रहा है। गरीब व कमजोर तबके की बालिकाओं के लिए कस्तूरबा गांधी आवासीय विद्यालयों को जो आठवीं तक थे, उन्हें 12वीं तक करने की कार्रवाई को राज्य सरकार ने आगे बढ़ाया है।
राज्य सरकार इण्टीग्रेटेड कैम्पस बनाने की दिशा में प्रयास कर रही है। इसमें प्री-प्राइमरी से लेकर 12वीं तक की शिक्षा एक कैंपस में विद्यार्थियों को मिलेगी, जहां अच्छे व प्रशिक्षित शिक्षक होंगे तथा छात्र व शिक्षक अनुपात उपयुक्त होगा। इसके लिए राज्य सरकार ने 57 ऐसे कम्पोजिट विद्यालय प्रारम्भ करने की कार्यवाही के लिए बजट में व्यवस्था की है। राज्य सरकार का प्रयास है कि पहले चरण में जनपद स्तर पर दूसरे चरण में तहसील स्तर पर तीसरे चरण में ब्लॉक स्तर पर और चौथे चरण में न्याय पंचायत स्तर पर यह कार्य सम्पन्न हो। यह एजूकेशन का एक मॉडल होगा। 27,000 विद्यालय बंद नहीं किये जा रहे हैं, बल्कि छात्र-शिक्षक के अनुपात को संतुलित किया जा रहा है। बच्चों के भविष्य को ध्यान में रखकर सरकार निर्णय ले रही है।
वनटांगिया गांव में 22 प्राथमिक विद्यालयों और 11 उच्च प्राथमिक विद्यालयों का निर्माण भी किया गया है। साथ ही, एन0सी0सी0 की अकादमी के साथ-साथ सैनिक स्कूल के निर्माण के कार्यक्रम को भी प्राथमिकता के आधार पर आगे बढ़ाने का कार्य किया जा रहा है। संस्कृत के विद्यार्थियों के छठी क्लास से लेकर, नवीं क्लास और आचार्य तक के लिए पहली बार सभी छात्रों के लिए स्कॉलरशिप की घोषणा सरकार ने की है। यह गत वर्ष ही राज्य सरकार ने लागू कर दिया है। संस्कृत शिक्षा के विकास के लिए भी सरकार अपने स्तर पर प्रयास कर रही है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि जिन मण्डलों में विश्वविद्यालय नहीं थे, वहां राज्य सरकार द्वारा विश्वविद्यालय निर्मित कराये जा रहे हैं। इनमें माँ शाकुम्भरी विश्वविद्यालय सहारनपुर, महाराजा सुहेलदेव राज्य विश्वविद्यालय आजमगढ़ एवं राजा महेन्द्र प्रताप सिंह राज्य विश्वविद्यालय अलीगढ़, माँ विन्ध्यवासिनी राज्य विश्वविद्यालय मीरजापुर, माँ पाटेश्वरी देवी राज्य विश्वविद्यालय बलरामपुर, गुरु जम्भेश्वर राज्य विश्वविद्यालय मुरादाबाद के निर्माण की कार्यवाही को आगे बढ़ाया है, जिसमें से तीन विश्वविद्यालय प्रारम्भ हो चुके हैं। तीन विश्वविद्यालय नए सत्र में प्रारम्भ होंगे।
कुशीनगर में भी महात्मा बुद्ध के नाम पर एक कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय का निर्माण कार्य आगे बढ़ चुका है। जगद्गुरु स्वामी रामभद्राचार्य दिव्यांग विश्वविद्यालय, चित्रकूट को प्रदेश सरकार ने राज्य विश्वविद्यालय के रूप में मान्यता दी है, जिसे अब प्रदेश सरकार संचालित कर रही है। हमारे युवा मॉडर्न ऐज कोर्सेज में प्रशिक्षित हो सकें, इसके लिए 150 आई0टी0आई0 को नई तकनीक के साथ जोड़ने की कार्यवाही को टाटा टेक्नोलॉजी के साथ आगे बढ़ाया गया है। 150 आई0टी0आई0 पूरी तरह तैयार हो चुके हैं। इससे 1,000 से 1,500 बच्चे हर वर्ष प्रशिक्षित होंगे। 62 नए आई0टी0आई0 को हब एण्ड स्पोक मॉडल पर आगे बढ़ाने का कार्य किया जाएगा। इससे अधिक से अधिक संख्या में विद्यार्थी प्रोत्साहित हो सकेंगे। प्रदेश सरकार 02 करोड़ नौजवानों को स्मार्टफोन व टैबलेट देने का कार्य कर रही है। इसमें 50 लाख युवाओं को प्रदेश सरकार स्मार्टफोन व टैबलेट प्रदान कर चुकी है। सरकार ने तय किया है कि हर छात्र को टैबलेट उपलब्ध कराया जाएगा।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि जिला मुख्यालयों में 24 घण्टे, तहसील मुख्यालयों में 22 घण्टे से अधिक, ग्रामीण क्षेत्र में 18 से 20 घण्टे विद्युत की आपूर्ति अनवरत की जा रही है। माननीय विधायकों व जनप्रतिनिधियों को विद्युत इन्फ्रास्ट्रक्चर के क्षेत्र में अपनी धनराशि देने की आवश्यकता नहीं होनी चाहिए, क्योंकि प्रदेश सरकार इसके लिए पर्याप्त धनराशि दे रही है। वर्ष 2017 से अब तक 193 विद्युत सब स्टेशन का निर्माण कराया गया है। कानपुर में 600 मेगावॉट की घाटमपुर तापीय विद्युत परियोजना की तीन यूनिट में से प्रथम इकाई का कार्य दिसम्बर, 2024 में पूरा कर लिया गया है। द्वितीय व तृतीय इकाई का निर्माण कार्य अगस्त, 2025 तक पूरा कर लिया जाएगा। 9,926 ट्रांसफार्मर की स्थापना तथा 28,602 ट्रांसफार्मर्स की क्षमतावृद्धि का कार्य किया गया है। 1,88,000 निजी नलकूपों को कनेक्शन देने के कार्य भी हुए हैं।
वर्ष 2017 तक स्थापित कुल 288 मेगावॉट की ग्रीन एनर्जी की परियोजनाएं, जो लागू हो पाई थीं, विगत 08 वर्षों में उनकी क्षमता 10 गुना बढ़ाई गई है। 2,653 मेगावाट क्षमता की सोलर पावर की परियोजनाएं पूरी और क्रियाशील हो चुकी हैं। इसके अलावा विभिन्न भवनों के ऊपर 508 मेगावाट क्षमता की सोलर रूफटॉप परियोजनाओं की स्थापना की गई है। बुंदेलखण्ड में ग्रीन एनर्जी कॉरिडोर के अंतर्गत 4,000 मेगावाट के सोलर पावर प्लांट की स्थापना और सौर ऊर्जा नीति के अंतर्गत 22,000 मेगावाट सौर ऊर्जा के उत्पादन के कार्यक्रम को सरकार आगे बढ़ाने का कार्य कर रही है।
वर्ष 1947 से वर्ष 2017 तक कुल 1,28,494 मजरों तक बिजली पहुंची थी। अर्थात 70 वर्षों में जितनी बिजली पहुंची थी। प्रदेश सरकार ने अप्रैल, 2017 से दिसम्बर 2023 तक 2,49,818 मजरों तक विद्युत की आपूर्ति सुनिश्चित करने का कार्य किया है। वर्ष 2012 से 2017 के मध्य 08 लाख विद्युत कनेक्शन दिए गए थे। वर्ष 2017 से अब तक राज्य सरकार ने 01 करोड़ 65 लाख लोगों को निःशुल्क बिजली कनेक्शन उपलब्ध कराने का कार्य किया है।
प्रदेश सरकार पहली सरकार है जिसने 14 लाख किसानों के निजी नलकूपों के बिल को माफ करते हुए किसानों की आय को बढ़ाने का कार्य किया है। वर्ष 2017 में हमारी सरकार के आने पर कैबिनेट का पहला निर्णय अन्नदाता किसानों के फसली ऋण को माफ करने का था। 86 लाख किसानों का 36,000 करोड रुपये के फसली ऋण को माफ करने का कार्य किया गया था। वर्ष 2017 से पूर्व किसानों से सीधे खाद्यान्न की खरीद नहीं होती थी। बीच में बिचौलियों की भूमिका होती थी। राज्य सरकार लगातार अन्नदाता किसानों से सीधे खाद्यान्न की खरीद कर रही है। वर्ष 2016-17 तक खाद्यान्न उत्पादन प्रति हेक्टेयर 27.25 कुंतल था, जो वर्ष 2023-24 में बढ़कर 30.51 कुंतल तक पहुंच चुका है। जो यह दिखाता है कि सरकार के द्वारा उठाए गए कदम सही दिशा में आगे बढ़े हैं। प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के अंतर्गत पहले किसानों को पैसा नहीं मिल पाता था। आज इस योजना से लाखों किसान लाभान्वित हो रहे हैं। वर्ष 2023-24 में 28,58,000 कृषकों द्वारा 19,84,000 हेक्टेयर क्षेत्रफल में फसल बीमा कराया गया जिसमें 9,33,000 बीमित किसानों को 495 करोड़ 41 लाख रुपये की क्षतिपूर्ति प्राप्त हुई।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वर्ष 2016-17 में गन्ना क्षेत्रफल 20.54 लाख हेक्टेयर था जो आज बढ़कर 29.66 लाख हेक्टेयर हो चुका है। गन्ना किसानों को 370 रुपये प्रति कुंतल की दर से भुगतान किया जा रहा है। वर्ष 2016-17 में गन्ना उत्पादकता प्रति हेक्टेयर 72 टन थी। जो आज वर्ष 2024-25 में 85 टन प्रति हेक्टेयर हुई है। वर्ष 2017 से अब तक राज्य सरकार ने लगभग 46 लाख गन्ना किसानों को 2,73,000 करोड़ रुपये का रिकॉर्ड गन्ना मूल्य का भुगतान किया है, जो गन्ना किसानों के बैंक खाते में सीधे गया है। वर्ष 2017 से पूर्व 22 वर्षों में जितना गन्ना मूल्य का भुगतान किया गया था, यह उससे अधिक है। 120 गन्ना चीनी मिल प्रदेश में संचालित है, इनकी पेराई क्षमता लगातार बढ़ाई गई है। वर्ष 2017 के बाद 03 नई चीनी मिलों की स्थापना की गई है। 06 चीनी मिलों का पुनर्संचालन किया गया है। 38 चीनी मिलों का विस्तार किया गया है और लगभग 1,25,000 लोग प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष रूप से रोजगार से जुड़े हैं। उत्तर प्रदेश में एथेनॉल उत्पादन 42 करोड़ लीटर से बढ़कर वर्ष 2023-24 में बढ़कर 177 करोड़ लीटर हो गया है।
31 सिंचाई परियोजनाएं पूर्ण होने से 22 लाख 75000 हेक्टेयर भूमि की अतिरिक्त सिंचन क्षमता अर्जित की गई है। इसके माध्यम से 46,69,000 कृषक सीधे-सीधे लाभान्वित हुए हैं। इसके अलावा मध्य गंगा नहर परियोजना फेज-2, कनहर सिंचाई परियोजना, महाराजगंज में रोहिन नदी बांध के पूर्ण होने पर 4,74,000 हेक्टेयर क्षेत्र में अतिरिक्त सिंचन क्षमता सृजित होगी। इसके माध्यम से 6,77,000 किसान लाभान्वित होंगे। इसके अलावा पी0एम0 कुसुम योजना में राज्य सरकार ने वर्ष 2023 तक लगभग 82,000 किसानों को सोलर पम्प उपलब्ध कराए हैं। इस सत्र में 53,000 से अधिक किसानों को यह सोलर पम्प उपलब्ध कराने की कार्यवाही को सरकार आगे बढ़ने जा रही है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि राज्य सरकार ने स्वास्थ्य एवं चिकित्सा के क्षेत्र में बड़े कदम उठाए हैं। देश की आजादी से वर्ष 2017 तक प्रदेश में 17 राजकीय मेडिकल कॉलेज बन पाए थे। आज सभी 75 जनपदों में एक-एक मेडिकल कॉलेज बनाने के कार्य को सरकार पूरी प्राथमिकता के साथ कार्य कर रही है। शेष 06 जनपदों में मेडिकल कॉलेज बनाने की कार्यवाही को युद्ध स्तर पर आगे बढ़ाया जा रहा है। प्रदेश सरकार के प्रयासों से एक्यूट इन्सेफेलाइटिस में 85 प्रतिशत और जापानी इंसेफेलाइटिस में 99 प्रतिशत की कमी आयी है। डेंगू के मामलों में वर्ष 2017 की तुलना में लगभग 95 प्रतिशत की कमी आयी है। मलेरिया के मामलों में 2017 की तुलना में वर्ष 2024 में 56 प्रतिशत की कमी आई है। आज हर जनपद में डायलिसिस की सुविधा हो चुकी है। हर जनपद में लोगों को ब्लड बैंक की सुविधा और ब्लड अप्रेसिस की सुविधा, प्लेटलेट्स की सुविधा वहां प्राप्त हो, इसके लिए कार्यक्रम को आगे बढ़ाया जा रहा है। आयुष्मान भारत योजना में सर्वाधिक गोल्डन कार्ड बनाने वाला राज्य उत्तर प्रदेश है।
उत्तर प्रदेश में वर्ष 2017 में एम0बी0बी0एस0 की सीटें 1,990 थीं, जो बढ़कर 5,250 हुई हैं। निजी मेडिकल कॉलेजों में सीटों की संख्या 2,550 से बढ़कर 6,550 हुई हैं। राजकीय मेडिकल कॉलेजों में पी0जी0 की सीटें वर्ष 2017 में 741 थीं, आज वह बढ़कर 1,871 हुई हैं और निजी क्षेत्र के मेडिकल कॉलेज में वर्ष 2017 की तुलना में यह सीटें 480 से बढ़कर 2,100 हुई हैं। इसके अलावा, सरकारी मेडिकल कॉलेज में सुपर स्पेशलिटी की सुविधा उपलब्ध कराने की कार्रवाई की गई है, जिससे बेड की संख्या बढ़ी है। एस0जी0पी0जी0आई0 में 08 नए विभागों के कार्य प्रारम्भ हुए हैं। आई0आई0टी0 कानपुर में 500 बेड का सुपर स्पेशियलिटी चिकित्सालय के निर्माण की कार्यवाही में राज्य सरकार योगदान दे रही है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश सरकार ने 7.50 लाख से अधिक सरकारी नौकरी युवाओं को उपलब्ध कराई है। वर्ष 2017 से पूर्व परीक्षा प्रक्रिया से जुड़े विभिन्न आयोग व बोर्ड की स्थिति ठीक नहीं थी। आज पारदर्शी तरीके से नियुक्ति की प्रक्रिया को आगे बढ़ाया जा रहा है। साथ ही, नकल माफिया की कमर भी तोड़ी जा रही है। युवाओं के जीवन के साथ खिलवाड़ करने वालों की सम्पत्ति कुर्क करने, जब्त करने और उन्हें आजीवन कारावास की सजा दिलाने के लिए सरकार पूरी प्रतिबद्धता के साथ कार्य कर रही है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि एम0एस0एम0ई0 सेक्टर से 02 करोड़ से अधिक रोजगार सृजित हुए हैं। प्रदेश में 15 लाख करोड़ रुपये के निवेश प्रस्तावों को धरातल पर उतारने से 60 लाख नौजवानों को सीधे-सीधे नौकरी मिली। इसके अलावा, राज्य सरकार ने आउटसोर्सिंग व संविदा कर्मचारियों के न्यूनतम मानदेय में वृद्धि की घोषणा बजट में की है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि राज्यपाल जी ने अपने में उल्लेख किया है कि सरकार के अभिभाषण सुनियोजित प्रयासों, प्रभावी कार्य और सतत अनुसरण से उत्तर प्रदेश, देश में विभिन्न योजनाओं में प्रथम स्थान पर रहा है। पर्यटन में धार्मिक आध्यात्मिक व सांस्कृतिक आयोजनों में पर्यटकों को आकर्षित करने में उत्तर प्रदेश आज शीर्ष स्थान पर है। गत वर्ष 65 करोड़ लोग उत्तर प्रदेश में आए थे और महाकुम्भ का आयोजन अकेले ऐसा आयोजन है, जिसमें लगभग 65 करोड़ श्रद्धालु आ चुके हैं। प्रदेश में पर्यटन के दो आधार हैं एक पेशेवर पर्यटक और दूसरे श्रद्धालु जो तीर्थ यात्री के रूप में आते हैं। दुनिया के बड़े-बड़े आयोजनों में लाखों लोग ही पहुंचते हैं। लेकिन इतनी बड़ी संख्या में लोग नहीं पहुंचते हैं। यह संख्या उतनी है, जो यूरोपीय यूनियन की जनसंख्या से लगभग डेढ़ गुनी है। अमेरिका की जनसंख्या से डेढ़ गुना अधिक है।
प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी एवं ग्रामीण में दोनों में उत्तर प्रदेश प्रथम स्थान पर है। प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना में उत्तर प्रदेश प्रथम स्थान पर है। पी0एम0 स्वनिधि योजना में उत्तर प्रदेश प्रथम स्थान पर है। स्वच्छ भारत मिशन में उत्तर प्रदेश प्रथम स्थान पर है। महिलाओं के प्रति अपराध में सजा दिलाने में उत्तर प्रदेश नम्बर एक पर है। ईज़ ऑफ डूइंग बिजनेस में उत्तर प्रदेश अचीवर स्टेट के रूप में है। एम0एस0एम0ई0 में प्रथम स्थान पर है। प्रधानमंत्री जनधन योजना के अन्तर्गत उत्तर प्रदेश सर्वाधिक खाता खोलने वाला राज्य है। प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना में उत्तर प्रदेश प्रथम स्थान पर है। प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना में उत्तर प्रदेश प्रथम स्थान पर है। अटल पेंशन योजना में उत्तर प्रदेश प्रथम स्थान पर है।
कृषि निवेश पर किसानों को देय अनुदान में उत्तर प्रदेश प्रथम स्थान पर है। गन्ना एवं चीनी उत्पादन, आम उत्पादन, दुग्ध उत्पादन, आलू उत्पादन, शीरा उत्पादन में उत्तर प्रदेश लगातार प्रथम स्थान पर है। उत्तर प्रदेश एथेनॉल उत्पादन में प्रथम स्थान पर है। जेम पोर्टल पर सर्वाधिक सरकारी क्रय करने वाला राज्य उत्तर प्रदेश है। वृक्षारोपण में उत्तर प्रदेश प्रथम स्थान पर है। इसके अलावा, राष्ट्रीय शिक्षा नीति के क्रियान्वयन में कौशल विकास नीति के अन्तर्गत कार्य करने में उत्तर प्रदेश प्रथम स्थान पर है। इन सभी कार्यक्रमों में आज उत्तर प्रदेश अग्रणी राज्यों में खड़ा है। आज उत्तर प्रदेश तीव्र गति से आगे बढ़ रहा है।
समस्या के बारे में सोचने पर बहाने मिलते हैं। समाधान के बारे में सोचने पर रास्ते मिलते हैं। जिंदगी आसान नहीं है बस खुद को मजबूत बनाना पड़ता है। उत्तम समय कभी नहीं आता, समय को उत्तम बनाना पड़ता है। डबल इंजन सरकार ने समय को उत्तम बनाया है।
कुम्भ के बारे में विपक्ष की जैसी दृष्टि थी, वैसी सृष्टि नजर आयी। सरकार महाकुम्भ के संदेश को एकता के संदेश के रूप में देखती है। महाकुम्भ ने साबित किया है, जो भारतीय ऋषियों की दृष्टि थी अर्थात सत्य एक है, लोगों के देखने की दृष्टि अलग-अलग हो सकती है। सत्य यह है कि सनातन धर्म शाश्वत है और शाश्वत रहेगा। महाकुम्भ ने एकता का संदेश दिया है ‘एकं सद् विप्रा बहुधा वदन्ति’।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि साथ-साथ चलने से ही विकास होगा, यह कुम्भ का सबसे बड़ा संदेश है यदि इस संदेश को हम अंगीकार कर सकेंगे, तो बहुत कुछ कह पाएंगे और बहुत कुछ कर पाएंगे। महामहिम राज्यपाल जी का यह अभी भाषण उन्हीं बातों का प्रतिनिधित्व करता है।
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