बलरामपुर। नौ माध्यमिक विद्यालयों पर मान्यता रद्द होने की तलवार लटक रही है। सीएम योगी आदित्यनाथ के मिशन 100 दिन की प्राथमिकताओं के अनदेखी पर कार्रवाई का शिकंजा कसा गया है। यूपी बोर्ड की वेबसाइट पर वेब पेज न बनाने वाले विद्यालयों के खिलाफ डीआईओएस ने मान्यता रद्द करने के संबंध में शासन को रिपोर्ट भेज दी है। सौ दिन पूरे होने पर अभियान की समीक्षा में सीएम की प्राथमिकता के कार्यों को गंभीरता से न लेने के आरोप में ऐसे विद्यालयों पर कार्रवाई की गई है। मान्यता रद्द होने के बाद ऐसे विद्यालयों छात्रों को नजदीकी विद्यालयों में संबद्ध करने की तैयारी भी की जा रही है।
माध्यमिक शिक्षा विभाग की ओर से जिले में हाईस्कूल व इंटरमीडिएट स्तर के 22 राजकीय, 19 वित्तपोषित और 112 वित्तविहीन विद्यालयों को यूपी बोर्ड की वेबसाइट पर वेब पेज और हर छात्र की ई-मेल आईडी तैयार करने की जिम्मेदारी सौंपी गई। परीक्षा परिणाम आने से पहले इस काम को पूरा करने का निर्देश दिया गया था। सीएम की प्राथमिकता होने के बाद भी जिले के नौ माध्यमिक विद्यालयों की तरफ से दोनों में एक भी निर्देश का पालन नहीं किया गया। इस बात का खुलासा सौ दिन पूरे होने के बाद विभाग की समीक्षा में हुआ।
डीआईओएस ने उठाया कड़ा कदम
विद्यालयों की ओर से की गई लापरवाही पर डीआईओएस ने कड़ा कदम उठाया है। मामला सीएम की प्राथमिकता से जुड़ा होने के चलते विद्यालयों के खिलाफ कार्रवाई तय कर दी गई है। डीआईओएस नौ विद्यालयों की मान्यता रद्द करने सिफारिश कर शासन को रिपोर्ट भेज दी है। शासन स्तर से मान्यता रद्द करने के बाद इन विद्यालयों में पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं को नजदीकी विद्यालयों में संबद्घ करने की तैयारी भी की जा रही है। सौ दिन में कार्य पूरा करने के लिए सभी विद्यालयों के प्रधानाचार्यों को कई बार चेतावनी भी दी गई, लेकिन निर्देश का पालन नहीं किया गया।
इन विद्यालयों पर कार्यवाही निश्चित मानी जा रही है।
हिन्दीसंवाद न्यूज
बलरामपुर
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